9वीं में हुआ था फेल अब कबाड़ से बनाता है कम्प्यूटर
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एक वक्त था जब लोग कहते थे “पढ़ोगे लिखोगे बनोगे नवाब खेलोगे कूदोगे बनोगे ख़राब” लेकिन आज हमें इसके कई विपरीत परिणाम देखने को मिलते हैं। वैसे सारे उदाहरण तो हम आपको यहां नहीं बता पाएंगे लेकिन आज हम आपको जिसका उदाहरण बताने जा रहे हैं जिसने खेलने की उम्र में कम्प्यूटर ही बना दिया। इतना ही नहीं आज उसका नाम पूरे देश में जाना जा रहा है।
जी हां बात सुनने मे थोड़ी अजीब ज़रूर है लेकिन यह सच है आप सोच रहे होंगे कि ऐसा क्या ख़ास है इस लड़के में जो आज इसे पूरे देश में जाना जा रहा है। दरअसल, मुम्बई के घाटकोपर में रहने वाला जयंत (16वर्ष) नाम का एक लड़का जिसे पढ़ाई लिखाई में ख़ास दिलचस्पी नहीं थी और उसके पिता कबाड़ी का काम करते थे और जयंत का पूरा ध्यान केवल कबाड़ से कुछ नया बनाने में लगा रहता था । उसे पढ़ना लिखना बिल्कुल भी पसंद नहीं था जिसके चलते वो 9वीं में फेल हो गया और इसी बीच जयंत ने वो कर दिखाया जो कोई सोच भी नहीं सकता जयंत ने हॉस्पीटल के मॉनिटर को ही कम्प्यूटर की स्क्रिन बना दि और कबाड़ को रिसायकल कर एक अफोर्टेबल कम्प्यूटर बना दिया।
जयंत के पिता रविन्द्र के अनुसार कबाड़ की काफी चीज़ो को वो बेच देते थे कुछ रिसायकल कर देते थे और ये कम्प्यूटर भी उन्हीं रियायकल प्रोडक्टस में से एक है । जयंत ने दिन रात एक कर इस कम्प्यूटर को बनाया और इस कम्प्यूटर के बन जाने के बाद तो जयंत ने मानो पूरे देश में तहलका मचा दिया हो ।
जयंत से बातचीत करने पर उसने बताया कि “मैं ऐसा कम्प्यूटर बनाना चाहता था जो हर गरीब बच्चे को आसानी से उपलब्ध हो सके।” जयंत के पिता रविंद्र के अनुसार जयंत ने इससे पहले एक लैपटॉप भी ठीक किया था जिसके बाद जयंत का ध्यान कम्प्यूटर की ओर आकर्षित हुआ। फिलहाल जयंत पत्राचार से अपनी 10वीं की पढ़ाई कर रहा है।
By : Shraddha Kamble
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