अब इन सुविधाओं के लिए SBI ग्राहकों को देना होंगे Extra चार्ज
एसबीआई केअकाउंट होल्डर्स को अब चेक बुक और लॉकर के लिए भी ज्यादा पैसे देने होंगे। इसमें एसबीआई के साथ विलय हुए छह अन्य बैंकों के ग्राहक भी शामिल हैं। बैंक के इस फैसले से देशभर के ग्राहकों पर असर पड़ेगा। सभी शुल्क पांच पहले के एसोसिएट बैंक और भारतीय महिला बैंक के ग्राहकों पर भी लागू होंगे। सभी एसोसिएट बैंक एक अप्रैल से ही स्टेट बैंक में विलय हो गए हैं। विलय के बाद एसबीआई ग्राहकों की संख्या बढ़कर करीब 50 करोड़ हो गई है।
एसबीआई ने लॉकर किराया भी बढ़ा दिया है। इसके साथ ही एक साल में लॉकर की संख्या भी कम कर दी है। बैंक के नए नियम के मुताबिक लॉकर 12 बाद यूज करने के बाद हर बार ग्राहकों को 100 रूपए के साथ सर्विस टैक्स भी देना पड़ेगा।
चेक बुक के मामले में करंट अकाउंटहोल्डर्स को एक बजट साल में 50 चेक के लिए तीन रूपए देने होंगे। मतलब अगर आप 50 से ज्यादा चेक यूज करने के बाद दोबारा 25 पन्नों वाली चेक बुक लेते हैं तो 75 रूपए के साथ सर्विस टैक्स भी अलग से देना होगा। वहीं हर महीने के आधार पर महानगरों में एसबीआई की शाखा में औसतन 5000 रूपए रखने होंगे। वहीं शहरी और अर्ध-शहरी शाखाओं के लिए क्रमश: न्यूनतम राशि सीमा 3000 और 2000 रूपए रखी गई है। अगर बात ग्रामीण शाखाओं की हो तो न्यूनतम राशि एक हजार रूपए रखी गई है।
जानिए इन नियमों के बारे में भी
– आप अपने खाते में तीन बार राशि डिपोजिट कर सकते हैं, तीन गुना से ज्यादा बार जमा करने पर 50 रूपए का भुगतान करना होगा।
– यदि आप एसबीआई के एटीएम से पांच बार ट्रांसेक्शन करते हैं, तो कोई चार्ज नहीं लगेगा, लेकिन पांच बार से ज्यादा इसका इस्तेमाल करने पर 10 रूपए का भुगतान करना होगा।
– अन्य बैंक के एटीएम 3 बार बिना किसी चार्ज के यूज कर सकते हैं, तीन बार के बाद यूज करने पर 20 रूपए का एक्स्ट्रा चार्ज लगेगा।
– अनलिमिटेड एसबीआई एटीएम बिना किसी चार्ज के यूज कर सकते हैं, बशर्ते आपको अपने एसबीआई अकाउंट में 25 हजार रूपए रखने होंगे।
– अनलिमिटेड एसबीआई और अन्य बैंक बिना किसी शुल्क के यूज कर सकते हैं यदि आप अपने एसबीआई सेविंग अकाउंट में 10 हजार तक की राशि रखते हैं।
– 15 रूपए का एसएमएस शुल्क आपको तीन महीने बाद चुकाना होगा। वो भी तभी जब आपके एसबीआई सेविंग अकाउंट में 25 हजार की राशि जमा हो।
– खातों में मासिक औसत बैलेंस बनाए रखने की असफलता पर 50 से 100 रूपए के बीच जुर्माना के साथ ही सर्विस टैक्स हर महीने भरना होगा।
– यूपीआई या यूएसएसडी ट्रांसेक्शन के लिए 1000 रूपए तक का कोई शुल्क नहीं होगा।
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