चीन के बाद अब ये देश बनाना चाहता है सुपर कम्प्युटर
आज के समय में लगभग हमारी हर गतिविधि टेक्नोलॉजी से जुड़ी हुई है। इंटरनेट के आ जाने से तो टेक्नोलॉजी पर हमारी निर्भरता कुछ ज़्यादा ही बढ़ गई है। एक आम व्यक्ति की ही तरह लगभग हर देश की यह चाह है कि वह टेक्नोलॉजी के मामले में ख़ुद को बाकी की तुलना में अपडेट रखे। अब इस मामले में एक और देश का नाम जुड़ने जा रहा है।
-चीन के बाद अब जापान भी सुपर कम्प्युटर बनाना चाहता है। सूत्रों की माने तो जापान में बनने वाला यह सुपर कम्प्युटर दुनिया का सबसे तेज काम करने वाला कम्प्युटर होगा। इंटरनेशनल न्यूज़ एजेन्सी के मुताबिक जापान इस सुपर कम्प्युटर बनाने के लिए 173 मिलियन रुपए खर्च करेगा। ग़ौरतलब है कि जापान इससे पहले साल 2011 में 10.5 पेटफ्लॉप्स को काउंट करने वाला सुपर कंप्यूटर चुका है। इस कम्प्युटर को Fujitsu’s K Computer नाम दिया गया था।
सुपर कम्प्युटर के मामले चीन है आगे
हाल ही में चीन ने ‘सनवे ताएहूलाइट’ नाम से एक सुपर कम्प्युटर बनाया था। यह सुपर कम्प्युटर महज एक सेकेंड में 9.3 करोड़ अरब गणनाएं कर सकता है। ताएहूलाइट का निर्माण पूरी तरह से चीन में बने प्रोसेसरों की मदद से किया गया है। यह जून में आया था। तब इसने पूर्व विजेता तिआन्हे-2 की जगह ली थी। हालांकि वह भी एक चीनी कम्प्युटर था और इंटेल चिप पर आधारित था। ताएहूलाइट तिआन्हे-2 की तुलना में तीन गुना तेज है। तिआन्हे-2 को पिछले तीन साल तक शीर्ष 500 की सूची में पहले स्थान पर रखा गया था। बता दें कि दुनिया के सर्वश्रेष्ठ सुपर कम्प्युटर की सूची में भारत का भी नाम शामिल है।
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