एथेंस के एक्रोपोलिस पर बनी भव्य इमारत देखने में संगमरमर से बनी भव्य मंदिर जैसी दिख रही होगा। लेकिन मध्य जर्मनी की ये स्मारकीय प्रतिकृति संगमरमर का नहीं बल्कि बैन की हुई100,000 किताबों से बनी है।
जी हां, “द पार्टन ऑफ बुक्स” इस साल के डॉक्यू मेला में प्रदर्शनी के तौर पर लगाया गया है। इसे यूनिवर्सिटी के कस्सेल शहर में हर पांच साल में एक बार आयोजित किया जाता है। अर्जेंटीना कलाकार मार्टा मिनुजिन द्वारा शुरू किया गया है। ये एक तरह का सभी प्रकार की सेंसरशिप के खिलाफ एक याचिका है। इसे आयोजित कर सेंसरशिप के खिलाफ प्रोटेस्ट किया जाता है।
दक्षिण अमेरिका में 74 साल के पॉप आर्ट आइकन मिनिजन ने इसे अपने कार्यों में शामिल सबसे ज्यादा राजनीतिक बताया है। वास्तव में किताबों के पार्थेनॉन उसी साइट पर है जहां 1993 में नाजियो ने यहूदी या माक्र्सवादी लेखकों की किताबों में आग लगा दी थी।
बता दें कि फास्ट फॉरवर्ड आठ दशक पहले ही स्वयंसेवकों की एक टीम है। किताबों की इस इमारत को बनाने के लिए क्रेन की मदद लेनी पड़ती है। जिससे ज्यादा से ज्यादा किताबों को इस पर लगाया जा सके। रूसी लेखका का नोबेल द बाइबल, द सैटनिक वर्सेस, द एडवेंचर ऑफ टॉम सॉयर और द लिटिल प्रिंस सहित बेस्ट सेलर्स में शामिल हो गया है।