जापान में है विश्व का सबसे बड़ा पतंग संग्रहालय
-जापान का थिरोन ओजोको म्यूजियम विश्व का सबसे बड़ा पतंग संग्रहालय है। यहां पतंगों की अनेक विलक्षण आकृतियां हैं। कहीं अबाबेल पक्षियों की हू-ब-हू आकृति है तो कहीं पवन चक्की का भ्रम पैदा करने वाले नमूने। ज्यादातर स्थानीय पतंगो पर आकर्षक रंग के मुखौटे बने होते हैं। संग्रहालय की एक रोचक बात यह है कि यहां आप पतंगे बनाना सीख सकते हैं। यदि कोई दिक्कत हो तो यहां मौजूद प्रशिक्षकों की मदद ली जा सकती है।
-जापान के इस संग्रहालय में हर साल जून में पतंगोत्सव का आयोजन किया जाता है। नाकानोगूजी नदी के दोनों किनारों पर इस खेल का आयोजन किया जाता है।
पतंगों की राजधानी है चीन
चीन के वेइफांग में 13000 वर्ग फुट क्षेत्र में बना पतंग संग्रहालय स्थापित है। इस संग्रहालय को देखकर ऐसा लगता है कि मानो कोई दैत्य आसमान में उड़ रहा है। संग्रहालय में पतंगो के अलावा तितलियों, चिड़ियों और कीटों की आकृतियां है। साल 1984 में यहीं पर पहला अंतर्राष्ट्रीय पतंगोत्सव हुआ था इसलिए इसे पतंगो की राजधानी भी कहा जाता है।
भारत के इस शहर में होता है पतंगों का कलेक्शन
कलात्मक पतंगो का संग्रह करने के मामले में भारत भी पीछे नहीं है। अहमदाबाद के संग्रहालय में देश-विदेश की कई बहुमूल्य पतंगे संग्रहित हैं। इनमें ज्यामितीय आकृति का सहारा लेकर करतब दिखाते पशु-पक्षियों की आकृति वाले चित्र पतंगो पर बेल बूटे का संयोजन किया हुआ है। इस संग्रहालय को देखकर एक बार प्रसिद्ध फ़िल्मकार श्याम बेनेल ने कहा था कि यह सौन्दर्य का अद्भूत नमूना है। वहीं अमेरिकी चित्रकार बोरिस का कहना था कि, यह संग्रहालय आकाश में उड़ता हुआ प्रतीत होता है।
पतंगों की लोकप्रियता के कारण फ्रांस में निकलती है एक मासिक पत्रिका
फ्रांस मे पंतगो की लोकप्रियता को देखते हुये वहां एक मासिक पत्रिका का प्रकाशन होता है। काईट पैन नामक इस पत्रिका को श्रेष्ठ प्रकाशन के लिए काइट बेटफोर्ड पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है। इस पत्रिका में दुनिया भर के पतंग बाजार, उन्हें उड़ाने और बनाने के तरीकों और पतंगो के अंतर्राष्ट्रीय उत्सव आदि की कई रोचक जानकारियां दी जाती है।